DU Admission 2025 : दिल्ली यूनिवर्सिटी (DU) में स्नातक (UG) कोर्सेस में एडमिशन के लिए हर साल लाखों छात्र आवेदन करते हैं। साल 2025 से एक बार फिर से दाखिला प्रक्रिया कॉमन यूनिवर्सिटी एंट्रेंस टेस्ट (CUET UG) के स्कोर के आधार पर ही होगी। जो छात्र DU में प्रवेश लेना चाहते हैं, उनके लिए यह जरूरी है कि वे समय रहते अपनी तैयारी शुरू कर दें और कॉलेज प्रेफरेंस की सूची तैयार रखें।
इस लेख में हम आपको बताएंगे कि DU UG Admission 2025 की प्रक्रिया क्या है, कौन-कौन से स्टेप्स होते हैं, क्या-क्या जरूरी दस्तावेज चाहिए, कितनी फीस लगेगी और टॉप DU कॉलेज कौन-कौन से हैं। आइए जानते हैं इस पूरी प्रक्रिया को सरल और आसान भाषा में।
DU में एडमिशन अब मेरिट से नहीं, CUET स्कोर से
पहले जहां दिल्ली यूनिवर्सिटी में 12वीं के नंबरों के आधार पर एडमिशन मिलता था, वहीं अब यह प्रक्रिया बदल चुकी है। अब प्रवेश पूरी तरह से CUET UG के स्कोर पर आधारित होता है। इसका मतलब यह है कि केवल बोर्ड की मेरिट से अब एडमिशन नहीं मिलेगा। हालांकि, यदि किसी स्टूडेंट के CUET स्कोर और बोर्ड अंक समान होते हैं, तो टाई-ब्रेक के लिए 12वीं और 10वीं के अंकों का उपयोग किया जाएगा।
एडमिशन के लिए CSAS पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन जरूरी
CUET UG 2025 के परिणाम के बाद DU ने CSAS (कॉमन सीट एलोकेशन सिस्टम) पोर्टल को सक्रिय कर दिया है। सभी छात्र जो DU में एडमिशन लेना चाहते हैं, उन्हें इस पोर्टल पर जाकर रजिस्ट्रेशन करना होगा।
तीन चरणों में होती है एडमिशन प्रक्रिया
पहला चरण: पंजीकरण (Registration)
इस चरण में छात्र को अपने CUET एप्लिकेशन नंबर, 12वीं के अंक और जरूरी दस्तावेज जैसे फोटो, सिग्नेचर, मार्कशीट आदि पोर्टल पर अपलोड करने होते हैं। इसके बाद छात्र को रजिस्ट्रेशन फीस जमा करनी होती है:
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सामान्य/ओबीसी/ईडब्ल्यूएस श्रेणी: ₹250
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एससी/एसटी/पीडब्ल्यूबीडी: ₹100
दूसरा चरण: प्रेफरेंस भरना
CUET का रिजल्ट आने के बाद छात्र CSAS पोर्टल पर जाकर कॉलेज और कोर्स की प्राथमिकताएं भर सकते हैं। इस स्टेप में सबसे ज्यादा सावधानी बरतने की जरूरत होती है क्योंकि यहीं से यह तय होता है कि छात्र को किस कॉलेज में कौन सा कोर्स मिलेगा।
तीसरा चरण: सीट आवंटन
यह अंतिम चरण होता है जिसमें मेरिट, छात्रों की प्राथमिकता और सीट की उपलब्धता के आधार पर सीट अलॉट की जाती है। एक बार सीट मिल जाने के बाद छात्र को फीस जमा कर एडमिशन कन्फर्म करना होता है।
महत्वपूर्ण बदलाव
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अब एडमिशन में बोर्ड मेरिट की भूमिका सीमित हो गई है।
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टाई-ब्रेक की स्थिति में 12वीं और 10वीं के नंबरों का सहारा लिया जाएगा।
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ऑटो-एक्सेप्ट का विकल्प मिलने से छात्र सीट मिलते ही उसे तुरंत स्वीकार कर सकेंगे।
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DU ने कई स्किल-बेस्ड कोर्स भी शुरू किए हैं जो छात्रों को बेहतर करियर विकल्प देंगे।
CSAS पोर्टल की खासियत
CSAS पोर्टल को DU ने खासतौर पर पारदर्शी और सरल प्रक्रिया के तहत तैयार किया है। इसमें छात्र अपने स्कोर और योग्यता के अनुसार कॉलेज और कोर्स चुन सकते हैं। सीटें कई राउंड में आवंटित की जाएंगी, इसलिए यदि पहले राउंड में सीट न मिले तो भी घबराने की जरूरत नहीं है।
टॉप DU कॉलेजों की सूची (NIRF 2024 रैंकिंग के अनुसार)
CUET स्कोर आने से पहले छात्रों को यह तय कर लेना चाहिए कि वे किन कॉलेजों में आवेदन करना चाहते हैं। नीचे हम DU के टॉप कॉलेजों की सूची दे रहे हैं, जो NIRF 2024 रैंकिंग के आधार पर है:
रैंक | कॉलेज का नाम | स्थान |
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1 | हिंदू कॉलेज | दिल्ली |
2 | मिरांडा हाउस | दिल्ली |
4 | सेंट स्टीफन्स कॉलेज | दिल्ली |
5 | आत्मा राम सनातन धर्म कॉलेज | दिल्ली |
9 | किरोरी मल कॉलेज | दिल्ली |
10 | लेडी श्रीराम कॉलेज फॉर विमेन | दिल्ली |
(नोट: RKM Vivekananda, Loyola, PSGR Krishnammal जैसे कुछ कॉलेज दिल्ली यूनिवर्सिटी का हिस्सा नहीं हैं, इसलिए दिल्ली में पढ़ाई के इच्छुक छात्र DU से संबंधित कॉलेजों को ही प्राथमिकता दें।)
जरूरी सुझाव
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CUET स्कोर आने से पहले ही कॉलेज और कोर्स की प्राथमिकता तय करें।
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दस्तावेजों को स्कैन कर पोर्टल पर अपलोड करने के लिए तैयार रखें।
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CSAS पोर्टल पर समय से रजिस्ट्रेशन करें और फीस भरना न भूलें।
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सीट अलॉटमेंट के हर राउंड पर नजर रखें ताकि आप समय पर सीट स्वीकार कर सकें।