Free Tablet Yojana 2025 : बिहार सरकार ने सरकारी स्कूलों की शिक्षा व्यवस्था को तकनीकी रूप से सशक्त बनाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है। अब राज्य के करीब 81 हजार सरकारी स्कूलों को मुफ्त टैबलेट दिए जाएंगे। इस फैसले से न केवल स्कूलों में डिजिटल सुविधाएं बढ़ेंगी, बल्कि छात्रों को भी आधुनिक तकनीकों से पढ़ाई करने का अवसर मिलेगा।
किन स्कूलों को मिलेगा टैबलेट?
सरकार के इस फैसले के अनुसार प्राथमिक (कक्षा 1 से 5), मध्य (कक्षा 6 से 8), माध्यमिक (कक्षा 9 से 10) और उच्च माध्यमिक (कक्षा 11 से 12) तक के सभी सरकारी विद्यालयों को डिजिटल टैबलेट दिया जाएगा।
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हर सरकारी प्राथमिक और मध्य विद्यालय को 2 टैबलेट दिए जाएंगे।
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टैबलेट का इस्तेमाल शिक्षकों और छात्रों की डिजिटल लर्निंग को बढ़ावा देने के लिए किया जाएगा।
टैबलेट वितरण की प्रक्रिया कैसे होगी?
बिहार शिक्षा परियोजना परिषद के निदेशक मयंक वरवड़े ने सभी जिलों के शिक्षा अधिकारियों को टैबलेट वितरण से संबंधित आवश्यक दिशा-निर्देश जारी कर दिए हैं। टैबलेट वितरण की पूरी प्रक्रिया को चरणबद्ध तरीके से संपन्न किया जाएगा:
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जिला स्तर पर आपूर्ति:
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सबसे पहले टैबलेट की आपूर्ति जिला शिक्षा कार्यालयों में की जाएगी।
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प्रत्येक जिले में प्राप्त टैबलेट की गिनती और रिकॉर्डिंग सुनिश्चित की जाएगी।
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डिलीवरी चालान की प्रति राज्य कार्यालय को भेजी जाएगी।
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प्रखंड स्तर पर वितरण:
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जिला स्तर के बाद टैबलेट को प्रखंड संसाधन केंद्रों या प्रखंड शिक्षा कार्यालय के माध्यम से संबंधित स्कूलों में भेजा जाएगा।
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सभी स्कूलों की संख्या के अनुसार टैबलेट का वितरण होगा।
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वितरण के बाद प्रखंड स्तर पर भी टैबलेट वितरण का पूरा रिकॉर्ड रखा जाएगा ताकि पारदर्शिता बनी रहे।
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शिक्षकों को मिलेगी डिजिटल ट्रेनिंग
बिहार सरकार केवल टैबलेट वितरण तक ही सीमित नहीं है, बल्कि इसके साथ-साथ शिक्षकों को डिजिटल प्रशिक्षण (Digital Training) भी दिया जाएगा।
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सभी सरकारी स्कूलों के प्रधानाध्यापक और शिक्षक टैबलेट का सही तरीके से उपयोग करना सीखेंगे।
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प्रशिक्षण से वे छात्रों को भी बेहतर तरीके से डिजिटल तरीके से पढ़ा सकेंगे।
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इस ट्रेनिंग में टैबलेट के इंटरफेस, एप्लिकेशन उपयोग, डिजिटल कंटेंट एक्सेस और छात्रों को ई-लर्निंग से जोड़ने की विधि सिखाई जाएगी।
डिजिटल शिक्षा को मिलेगा बढ़ावा
इस कदम से सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले लाखों छात्रों को डिजिटल शिक्षा की ओर बढ़ने का मौका मिलेगा। आज के समय में जब हर क्षेत्र में टेक्नोलॉजी का बोलबाला है, ऐसे में डिजिटल लर्निंग की जरूरत तेजी से बढ़ रही है।
सरकार के इस कदम से कई फायदे होंगे:
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सरकारी स्कूलों में तकनीकी सुविधा मजबूत होगी।
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छात्रों को स्मार्ट और डिजिटल तरीके से पढ़ाई करने का मौका मिलेगा।
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शिक्षक भी आधुनिक तकनीकों का उपयोग कर सकेंगे।
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शिक्षण पद्धति में गुणवत्ता आएगी और छात्रों की सीखने की क्षमता बढ़ेगी।
निष्कर्ष
बिहार सरकार का यह फैसला राज्य की शिक्षा व्यवस्था को नई दिशा देने वाला है। डिजिटल टैबलेट वितरण से जहां एक ओर छात्रों को डिजिटल शिक्षा का लाभ मिलेगा, वहीं दूसरी ओर सरकारी स्कूलों की पढ़ाई भी स्मार्ट बनेगी। यह कदम डिजिटल इंडिया के सपने को भी मजबूती देता है।
सरकार की योजना केवल डिवाइस देने तक सीमित नहीं है, बल्कि उसका मकसद है – शिक्षकों और छात्रों को तकनीक से जोड़कर शिक्षा को एक नई ऊंचाई पर पहुंचाना।
इस योजना की सफलता के बाद उम्मीद की जा सकती है कि आने वाले वर्षों में राज्य में शिक्षा का स्तर और भी बेहतर होगा, और सरकारी स्कूल भी निजी स्कूलों के मुकाबले में मजबूत बनेंगे।